The Definitive Guide to treating piles in pregnancy

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अर्जुन की छाल का काढ़ा बवासीर में खून आने को रोकने के लिए प्रभावी है।

पाइल्स सूजे हुए और बढ़े हुए रक्त वाहिकाएं हैं जो गुदा और मलाशय के अंदर या बाहर बनते हैं। वह सबसे आम एनोरेक्टल स्थिति हैं। वे दर्दनाक, असहज हो सकते हैं और मलाशय से खून निकलने का कारण बन सकते हैं।  

बवासीर के दौरान कौन-कौन से खाद्य पदार्थ खाने से बचना चाहिए?

निम्नलिखित सूचनात्मक जानकारी पढ़ें, जिसमें पाइल्स के लक्षण, कारण, प्रकार, निदान, रोकथाम और उपचार का विस्तृत विवरण दिया गया है।

इस घरेलू उपचार के लिए आपको चाहिए की कड़वी तोरई का get more info रस निकालकर उसमे थोड़ी हल्दी और नीम का तेल मिलाकर लेप बना लीजिये और प्रतिदिन पाइल्स के मस्सों पर लगाइये ऐसा करने से पाइल्स के मस्से जड़से खतम हो जाते हैं।

इस स्थिति में पीड़ित को दर्द महसूस नहीं होता।

गुदा के आस-पास खुजली, एवं लालीपन, व सूजन रहना।

अरावली पर्वतमाला से घिरा पुष्कर सर्दियों में बेहद खूबसूरत होता है.

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हल्दी में एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होते हैं जो की सूजन को कम करते हैं।

पाइल्स में ऐलोवेरा जेल लगाने से जलन और दर्द से राहत मिलती है और हीलिंग तेज होती है.

अधिक फाइबरयुक्त आहार का सेवन करें, जैसे- रेशेदार फल एवं सब्जियाँ।

यह थ्रॉम्बोस्ड आंतरिक बवासीर या बाहरी बवासीर वाले रोगियों के लिए एक विकल्प नहीं है।

इसे पाइल्स वाली जगह पर लगाने से खुजली और दर्द से आराम मिलता है.

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